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Kudrat Ke Sach Aur Samaj- Kuchh Bikhare Hua Sawal

Kudrat Ke Sach Aur Samaj- Kuchh Bikhare Hua Sawal

कुदरत के सच और समाज-कुछ बिखरे हुआ सवाल
Publisher: Eklavya
Author: Laltu
ISBN: 978-81-19771-88-2
Binding: Paperback
Language: Hindi
Pages: 46
Published: Oct-2024
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विज्ञान के क्या मायने हैं? क्या मायने हैं वैज्ञानिक प्रवृत्ति के ? कुदरत, कुदरती हम, हम से समाज, मूल्य, मान्यताएँ, प्रेम - विज्ञान इनसे अछूता तो नहीं? लाल्टू के सवाल बिखरे हैं, कुदरत के सच की ही तरह, मगर इस बिखराव में चिन्ताएँ हैं हकीकत और विज्ञान के सामाजिक भविष्य की। 2022 के 'होविशिका व्याख्यान माला' में दिया गया यह व्याख्यान, देखें किस मीमांसा तक ले जाता है...

यह किताब होविशिका के 50 साल और एकलव्य के 40 साल पूरे होने के मौके पर ज्ञान-विज्ञान के अलग- अलग क्षेत्रों से जुड़ी किताबों की श्रृंखला में एक कड़ी के रूप में प्रकाशित की जा रही है।

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